इस महामारी के समय योग निर्णायक साबित हो सकता है

इस माह, जब हम अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाने जा रहे हैं, सद्‌गुरु बता रहे हैं कि कैसे इस मुश्किल समय में योग और भी अधिक महत्वपूर्ण बन गया है – यह जीवन और मृत्यु के बीच एक निर्णायक कारक हो सकता है। यहाँ कुछ सरल योग क्रियाओं, और उनसे संबंधित कुछ शोधों के बारे में जानिए और पढ़िए कि आप जीवन को बचाने के लिए क्या कर सकते हैं…

सिंह क्रिया

सद्‌गुरु: मैं अनेक वैज्ञानिकों और दुनिया के कई महत्वपूर्ण डॉक्टरों से बात करता रहा हूँ। जितना मुझे समझ में आया – जो सामान्य ज्ञान भी है – कि इस वायरस महामारी के इस साल या अगले साल खत्म होने की अधिक उम्मीद नहीं है। यह बहुत आसानी से चार-छह साल तक चल सकता है, जिसके बाद यह महामारी एक संक्रामक रोग बनकर रह जाएगी। वह भी तब संभव है जब दुनिया में इस पर बहुत काम हो और हम इतने भाग्यशाली हों कि बहुत प्रभावी उपचार ला पाएँ। जब तक ऐसा नहीं होता यह महामारी बार-बार लहरों के रूप में लौट कर आती रहेगी।

जैसा कि आप देख रहे हैं, पहली लहर से लेकर दूसरी लहर तक आते हुए वायरस हमारे लिए और ज्यादा नुकसानदायक हो गया है। यह 2021-वायरस इंसानों को नुकसान पहुँचाने में कई गुना ज्यादा असरदार हो गया है। पिछले साल हमें भरोसा था कि युवा लोग इससे प्रभावित नहीं होंगे। लेकिन अब ऐसा नहीं है। दुर्भाग्य से बीस-तीस साल के कई लोग अपनी जान गँवा बैठे हैं। तो यह वायरस ख़ुद को और बेहतर कर सकता है। इसलिए हमें भी ख़ुद को बेहतर बनाना होगा।

सिंह क्रिया आपकी रोग-प्रतिरोधक प्रणाली (इम्यून सिस्टम) को मज़बूत करती है, आपके फेफड़ों की क्षमता को बढ़ाती है और शरीर में ऑक्सीजन वितरण के तरीके को ठीक करती है।

अब जब महामारी फैली हुई है, पहली चिंता रोग-प्रतिरोधक क्षमता यानी इम्यून सिस्टम को मज़बूत करने की है। हार्वर्ड मेडिकल स्कूल में ऐसे अध्ययन किए गए हैं जो बताते हैं कि सिंह क्रिया आपकी रोग-प्रतिरोधक प्रणाली (इम्यून सिस्टम) को मज़बूत करती है, आपके फेफड़ों की क्षमता को बढ़ाती है और शरीर में ऑ‍क्सीजन वितरण के तरीके को ठीक करती है। अपने ऑक्सीजन के स्तर को बनाए रखना और अपने इम्यून सिटस्म को बेहतर रखना दो सबसे महत्वपूर्ण चीज़ें हैं, जो अभी आपको करने की जरूरत है।

कुछ लोग कहते हैं कि चाहे आप कुछ भी कर लें, आज नहीं तो कल यह संक्रमण आपके शरीर से होकर गुज़रेगा ही। सवाल बस यह है कि यह आपके शरीर से गंभीर लक्षण पैदा करते हुए गुज़रेगा या बिना किसी लक्षण के। यह बिना लक्षणों के गुज़रे, इसके लिए आपके इम्यून सिस्टम को बहुत मजबूत होना होगा।

जीवन रक्षक योग क्रियाएँ

ईशा साधक के रूप में, ऐसे समय में यह आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण है कि आप इन क्रियाओं की अहमियत को समझें जो आपको सिखाई गई हैं। आपने सोचा होगा कि ये योग क्रियाएँ आपका आध्यात्मिक विकास करेंगी, आपके पीठदर्द या सिरदर्द में आराम पहुँचाएंगी, रोजमर्रा के जीवन में आपकी क्षमता को बेहतर करेंगी और कई और दूसरी चीज़ें करेंगी। लेकिन आपने कभी उन्हें जीवन-रक्षक साधन के तौर पर नहीं देखा होगा, पर वे बिलकुल ऐसी हो सकती हैं। अगर आप नियमित रूप से क्रियाएँ करते हैं, तो आपका शरीर वायरस के असर को निश्चित रूप से अधिकांश दूसरे लोगों के मुकाबले बेहतर तरीके से झेल सकता है।

योग क्रियाओं के साथ-साथ धरती और बाकी तत्वों के संपर्क में रहने से काफी फर्क पड़ सकता है। जो लोग इसके फायदे जानते हैं, उन्हें क्रियाएँ करते रहना चाहिए। आप सभी लोगों को रोजाना कम से कम 90-120 मिनट का समय कुछ क्रियाओं में बिताना चाहिए, जैसे सूर्य क्रिया, शक्ति चलन क्रिया और शांभवी या अगर कुछ और नहीं तो कम से कम सिंह क्रिया, साष्टांग और मकरासन। खासकर जो लोग शक्ति चलन क्रिया का अभ्यास कर रहे हैं, उन लोगों का सिस्टम खुद को जिस प्रकार व्यवस्थित करता है, उसमें बहुत भारी फर्क होगा।

हर किसी तक योग को पहुँचाना

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस आने वाला है। इस साल उसका महत्व एकदम अलग होगा। दुनिया में योग क्रियाओं का महत्व काफी बढ़ रहा है, इसलिए हम ऑनलाइन योग-वीर प्रशिक्षण देंगे। मैं चाहता हूँ कि आप लोग हज़ारों की संख्या में इसे करें और यह पक्का करें कि ज्यादा से ज्यादा लोगों तक ये क्रियाएँ पहुँचें।

यह ऐसा समय है, जहाँ ‘मैं ठीक हूँ’ से काम नहीं चलेगा, क्योंकि जब हमारे आस-पास हर कोई बीमार हो, तो इसका मतलब है कि किसी न किसी रूप में वे हमें संक्रमित करेंगे। इसलिए यह महत्वपूर्ण है कि हमारे आस-पास भी हर कोई स्वस्थ हो। इसे संभव बनाने के लिए आप सभी इम्युनिटी के लिए सरल भोजन और क्रियाओं के नुस्खे को अपनाएँ, जो हमने बताया है और उन्हें जितना संभव हो, उतने लोगों तक पहुँचाएँ। अभी यह सबसे महत्वपूर्ण है।

सही काम करें

आपकी वैयक्तिकता एक भ्रम है, जो आपने खुद बनाया है। जीवन की प्रकृति सर्वव्यापी है। दुर्भाग्य से यह वायरस बहुत खतरनाक तरीके से यह बात बता रहा है। अभी यह सीखने का समय है कि जीवन कितना जुड़ा हुआ है। तो इस पर एक निश्चित समय खर्च करें और रोज कम से कम तीन से पाँच लोगों तक ये साधन पहुँचाएँ। अगर आपकी पहुँच ज्यादा लोगों तक है, तो उसका इस्तेमाल करें।

आप सिर्फ एक सरल क्रिया नहीं सिखा रहे – आप लोगों का जीवन बचा रहे हैं।

यह बहुत महत्वपूर्ण है कि आप सभी ज़रिया बन जाएँ, क्योंकि आप सिर्फ एक सरल क्रिया नहीं सिखा रहे – आप लोगों का जीवन बचा रहे हैं। कृपया अपने और अपने आस-पास हर किसी के लिए इसे संभव बनाएँ।

यह उठकर दिखाने का समय है कि हम किस तरह के इंसान हैं, हम किस चीज़ से बने हैं। यह हताशा, अवसाद या निराशा का समय नहीं है। यह शांत रहने, संतुलित रहने और सही काम करने का समय है।